हनुमान चालीसा देती है स्वस्थ्य रहने का सन्देश .. कल 8 अप्रैल 2020 Din Budhwar ko हनुमान जी का जन्मदिन हनुमान चालीसा से कल के दिन की शुरुआत आप लोग करें अपने कल्याण और अपने परिवार की कल्याण की प्रभु से कामना करें संकट मोचन हनुमान जी के चरणों में बारंबार प्रणाम....
ज्योतिषाचार्य डॉ उमाशंकर मिश्र ज्योतिषाचार्य आकांक्षा श्रीवास्तव 94150 87711
लॉकडाउन के कारण वर्तमान समय में लोगों के मन में शंका, भय, निराशा, अनिश्चितता, क्रोध और कई तरह की मानसिक समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं। चिकित्सा विज्ञान कहता है कि भय और क्रोध हमारे प्रतिरक्षा प्रणाली को प्रभावित करता है। प्रतिरोध प्रणाली का संतुलन बिगड़ने से जल्दी से रोग लग जाता है। ऐसे में किस तरह हनुमान चालीसा का पाठ आपको स्वास्थ्य लाभ दे सकता है .....
1. आध्यात्मिक बल ........
कहते हैं कि आध्यात्मिक बल से ही आत्मिक बल प्राप्त होता है और आत्मिक बल से ही हम शारीरिक बल प्राप्त करके हर तरह के रोग से लड़कर उस पर विजय प्राप्त कर सकते हैं। प्रतिदिन हनुमान चालीसा का पाठ करने से मन और मस्तिष्क में आध्यात्मिक बल प्राप्त होता है। हनुमान जी को बल, बुद्धि और विद्या के दाता कहा जाता है, इसलिए हनुमान चालीसा का प्रतिदिन पाठ करना आपकी स्मरण शक्ति और बुद्धि में वृद्धि करता है। साथ ही आत्मिक बल भी मिलता है।
2. मनोबल बढ़ाती है हनुमान चालीसा .......
नित्य हनुमान चालीसा पढ़ने से पवित्रता की भावना का विकास होना है हमारा मनोबल बढ़ता है। उल्लेखनीय है कि जनता कर्फ्यू के समय घंटी या ताली बजाना या लॉकडाउन के दौरान दीप जलाना, रोशनी करना यह सभी व्यक्ति के निराश के अंधेरे से निकालकर मनोबल को बढ़ाने वाले ही उपाय थे। मनोबल ऊंचा रहेगा तो सभी संकटों से निजात मिलेगी। हनुमान चालीसा की एक पंक्ति हैं- अष्ट सिद्धि नव निधि के दाता, असवर दिन जानकी माता।
3. अकारण भय व तनाव मिटता.......
हनुमान चालीसा में एक पंक्ति है-
भूत पिशाच निकट नहीं आवे महावीर जब नाम सुनावे।
या सब सुख लहै तुम्हारी सरना, तुम रक्षक काहू को डरना।
यह चौपाई मन में अकारण भय हो तो समाप्त कर देती है। हनुमान चालीसा का पाठ आपको भय और तनाव से छुटकारा दिलाने में अत्यंत उपयोगी है।
4. हर तरह का रोग मिटता........
हनुमान चालीसा में एक पंक्ति है-
नासै रोग हरे सब पीरा, जपत निरन्तर हनुमत बीरा।
या बल बुधि बिद्या देहु मोहिं, हरहु कलेस बिकार।
अर्थात किसी भी प्रकार का रोग हो आप बस श्रद्धापूर्वक हनुमानजी का जाप करते रहे। हनुमान जी आपकी पीड़ा हर लेंगे। कैसे भी कलेस हो अर्थात कष्ट हो, वह सम्पात हो जाएगा। श्रद्धा और विश्वास की ताकत होती है। मतलब यह कि दवा के साथ दुआ भी करें। हनुमान जी की कृपा से शरीर की समस्त पीड़ाओं से आपको मुक्ति मिल जाएगी।
5.हर तरह का संकट मिटता है .....
आप किसी भी प्रकार का शारीरिक संकट या मानसिक संकट आया हो या प्राणों पर यदि संकट आ गया हो तो यह पंक्ति पढ़ें-
संकट कटै मिटै सब पीरा, जो सुमिरै हनुमत बलबीरा।
या संकट तें हनुमान छुड़ावै, मन क्रम बचन ध्यान जो लावै।
यह आपके भीतर नए सिरे से आशा का संचार कर देगी।
6. बंधन मुक्ति का उपाय.......
कहते हैं कि यदि आप नित्य 100 बार हनुमान चालीसा का पाठ करते हैं तो हर तरह के बंधन से मुक्त हो जाते हैं। वह बंधन भले ही किसी रोग का हो या किसी शोक का हो।
हनुमान चालीसा में ही लिखा है-
जो सत बार पाठ कर कोई, छूटहि बन्दि महा सुख होई।
सत अर्थात सौ।
7. नकारात्माक प्रभाव होते हैं दूर.......
मान्यता के अनुसार निरंतर हनुमान चालीसा पढ़ने से हमारे घर, मन और शरीर से नकारात्मक ऊर्जा का निष्कासन हो जाता है। निरोगी और निश्चिंत रहने के लिए जीवन में सकारात्मकता की जरूरत होती है। सकारात्मक ऊर्जा व्यक्ति को दीर्घजीवी बनाती है।
8. ग्रहों के बुरे प्रभाव होते हैं दूर.....
ज्योतिषियों के अनुसार प्रत्येक ग्रह का शरीर पर भिन्न भिन्न असर होता है। जब उसका बुरे असर होता है तो उस ग्रह से संबंधित रोग होते हैं। जैसे सूर्य के कारण धड़कन का कम-ज्यादा होना, शरीर का अकड़ जाना, शनि के कारण फेफड़े का सिकुड़ना, सांस लेने में तकलीफ होना, चंद्र के कारण मानसिक रोग आदि। इसी तरह सभी ग्रहों से रोग उत्पन्न होते हैं। यदि पवित्र रहकर नियमपूर्वक हनुमान चालीसा पढ़ी जाए तो ग्रहों के बुरे प्रभाव से मुक्ति मिलती है।
9. घर का कलह मिटता है......
यदि परिवार में किसी भी प्रकार की कलह है तो कुछ समय बाद परिवार के सदस्य तनाव में रहने लगेंगे और धीरे धीरे उन्होंने शारीरिक और मानसिक रोग घेर लेंगे। नित्य हनुमान चालीसा का पाठ करने से मन में शांति स्थापना होती है। कलह मिटता है और घर में प्रसन्नता का वातावरण निर्मित होता है।
10. बुराइयों से दूर करती है हनुमान चालीसा ......
यदि आप नित्य हनुमान चालीसा पढ़ रहे हैं तो निश्चित ही आप धीरे धीरे स्वत: ही तरह तरह की बुराइयों से दूर होते जाएंगे। जैसे कुसंगत में रहकर नशा करना, पराई स्त्री पर नजर रखना और क्रोध, मोह, लोभ, ईर्ष्या, मद, काम जैसे मानसिक विकार को पालन। जब व्यक्ति तरह की बुराइयों से दूर रहता है तो धीरे-धीरे उसकी मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य भी सुधरने लगता है।
नित्य हनुमान चालीसा बढ़ने से आपमें आध्यात्मिक बल, आत्मिक बल और मनोबल बढ़ता है। इसे पवित्रता की भावना अनुभव होती है। शरीर में हल्कापन लगता है और व्यक्ति स्वयं को निरोगी अनुभव करने लगता है। इससे भय, तनाव और असुरक्षा की भावना हट जाती है। जीवन में यही सब रोग और शोक से मुक्त होने के लिए जरूरी है। Jyotish Acharya Dr Umashankar Mishra Siddhivinayak Jyotish avam Vastu Anusandhan Kendra Vibhav khand 2 Gomti Nagar Lucknow 94150 8771 1 92357 229 96
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