सत्ताईस नक्षत्रों के वृक्ष 〰️जय श्री काशी विश्वनाथ👏👏👏👏👏 ज्योतिष के अनुसार 9 ग्रहों का प्रभाव मानव ,जीवो, पेड़ पोधो, सब पर पड़ता है। हर ग्रह का एक नक्षत्र होता है। परन्तु हर नक्षत्र का एक वृक्ष होता है । नक्षत्रो के माध्यम से भी ग्रहों के कुप्रभाव को सही किया जासकता है। कोई भी व्यक्ति अपने नक्षत्र के अनुसार वृक्ष की पूजा करके अपनें नक्षत्र को ठीक कर सकता है। यदि जन्म नक्षत्र अथवा गोचर के समय कोई नक्षत्र पीड़ित चल रहा हो तब उस नक्षत्र से संबंधित वृक्ष की पूजा करने से पीड़ा से राहत मिलती है। नक्षत्रों से संबंधित वृक्ष 〰️〰️〰️〰️〰️〰️〰️ 1👉 अश्विनी नक्षत्र का वृक्ष :– केला, आक, धतूरा । 2👉 भरणी नक्षत्र का वृक्ष :–केला, आंवला। 3👉 कृत्तिका नक्षत्र का वृक्ष :– गूलर । 4👉 रोहिणी नक्षत्र का वृक्ष :– जामुन । 5👉 मृगशिरा नक्षत्र का वृक्ष :– खैर। 6👉 आर्द्रा नक्षत्र का वृक्ष :– आम, बेल । 7👉 पुनर्वसु नक्षत्र का वृक्ष:– बांस । 8👉 पुष्य नक्षत्र का वृक्ष :– पीपल । 9👉 आश्लेषा नक्षत्र का वृक्ष :– नाग केसर और चंदन। 10👉 मघा नक्षत्र का वृक्ष :– बड़। 11👉 पूर्वाफाल्गुनी नक्षत्र का वृक्ष :- ढाक। 12👉 उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र का वृक्ष :- बड़ और पाकड़। 13👉 हस्त नक्षत्र का वृक्ष :– रीठा। 14👉 चित्रा नक्षत्र का वृक्ष :– बेल। 15👉 स्वाति नक्षत्र का वृक्ष :– अर्जुन। 16👉 विशाखा नक्षत्र का वृक्ष :– नीम। 17👉 अनुराधा नक्षत्र का वृक्ष :– मौलसिरी। 18👉 ज्येष्ठा नक्षत्र का वृक्ष :– रीठा। 19👉 मूल नक्षत्र का वृक्ष :– राल का पेड़। 20👉 पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र का वृक्ष :– मौलसिरी/जामुन। 21👉 उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का वृक्ष :– कटहल। 22👉 श्रवण नक्षत्र का वृक्ष :– आक। 23👉 धनिष्ठा नक्षत्र का वृक्ष :– शमी और सेमर। 24👉 शतभिषा नक्षत्र का वृक्ष :– कदम्ब। 25👉 पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र का वृक्ष :– आम। 26👉 उत्तराभाद्रपद नक्षत्र का वृक्ष :– पीपल और सोनपाठा। 27👉 रेवती नक्षत्र का वृक्ष :– महुआ। इनकी पूजा करने से नक्षत्रों का दोष दूर हो जाता है। प्रतिदिन इन पेडो़ के दर्शन मात्र से नक्षत्र का दोष दूर हो जाता है। डा अनिल दुबे वैदिक बनारस 9936443138