भविष्य का संकेत देता है ग्रहण, जानिए कैसा होगा आगामी समय जानिए *ज्योतिषाचार्य* *डॉ उमाशंकर* *मिश्रा*
*ज्योतिषाचार्य* *आकांक्षा*
*श्रीवास्तव* के अनुसार
अथर्ववेद में सूर्य ग्रहण तथा चंद्रग्रहण को अशुभ तथा दुर्निमित कहा गया है। अत: राहु से ग्रस्त सूर्य की शांति के लिए प्रार्थना की गई है। यहां पाठकों के लिए प्रस्तुत है सूर्य और चंद्रग्रहण से होने वाले शुभ और अशुभ शकुन-अपशकुन के बारे में, आप भी जानिए...
1. मेघ वर्षा के उपरांत इंद्रधनुष के दर्शन मंगल की सूचना देता है।
2. उषाकालीन सूर्य के दर्शन न होना अमंगलकारी माना गया है।
3. यात्रा के समय वायु का अवरुद्ध गति से प्रवाह अपशकुन माना गया है।
4. सूर्योदय तथा सूर्यास्त के समय निद्रा निमग्न होना, आलस्य की प्रतीति अशुभ एवं अमंगल की सूचक है।
5. सूर्य के आकार का धनुषाकार रूप में दिखाई देना अपशकुन कहा गया है।
6. गंदे जल या विकृत पदार्थों में यदि सूर्य का बिंब नजर आता है तो ऐसा दुर्भाग्य की सूचना देता है।
7. किसी पुण्य स्थल पर स्नान और जप करने से सूर्य तथा चंद्रग्रहण के दोष से मुक्ति मिलती है।
8. सूर्य तथा चंद्रग्रहण के अवसर पर सरोवर स्नान की महिमा कही गई है।
9. सूर्य का चंद्र की भांति दिखाई देना अशुभ एवं मृत्युसूचक माना गया है।
*ज्योतिषाचार्य डॉ उमाशंकर मिश्रा
ज्योतिषाचार्य आकांक्षा
श्रीवास्तव*
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